हिन्दी के नए छंद २३
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प्रस्तुत छंद के समान मात्रिक-वर्णिक पदभार गति-यति युक्त छंद यदि आपने पढ़े हों तो कृपया, उनका सन्दर्भ, विधान व उदाहरण salil.sanjiv@gmail.com पर भेजें।
नव रचनाकार इन छंदों का अभ्यास करें।
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चलें, आ अकेले, लगाना न मेले, न होंगे झमेले, चलें आ चलें।
बढ़ेंगे वही जो चलेंगे-गिरेंगे, उठेंगे-बढ़ेंगे, चलें आ चलें।।
मिलेंगे उन्हीं से, न जो गैर हैं, जो रहे साथ देते हमेशा खड़े ।
कहेंगे कहानी, न बातें बनानी, बचे छंद लाखों चलो भी लिखें।।
मिलेंगे उन्हीं से, न जो गैर हैं, जो रहे साथ देते हमेशा खड़े ।
कहेंगे कहानी, न बातें बनानी, बचे छंद लाखों चलो भी लिखें।।
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salil.sanjiv@gmail.com, ७९९९५५५९६१८
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