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मंगलवार, 26 मार्च 2019

काव्यानुवाद लॉन्गफेलो-सतीश सक्सेना शून्य

*********जीवन संगीत***********
मित्रो !!अंग्रेजी के एक बहुत प्रसिद्ध कवि हो गये हैं...Longfellow..उनकी एक बहुत चर्चित कविता है......Psalm of life....जो मुझे बहुत पसन्द है. इसका मैंनें अनुवाद भी किया है...उसे मूलरूप तथा अनुवाद सहित अपके समक्ष प्रस्तुत कर रहा हूँ..आप इसे स्व. कलाम साहब के संदर्भ में देख सकते हैं....
---1---
Tell me not in mournful numbers,
Life is but an empty dream ! -
For the soul is dead that slumbers.
And things are not what they seem.
मुझे बताओ नहीं अरे! दु:ख भरे गान में ।
जीवन रीता हुआ स्वप्न है इस जहान में।।
मृतक आत्मा! तन्द्रा में जो नित सोती है।
दिखती जैसी वस्तु नहीं वैसी होती है ।।
--2--
Life is real ! life is earnest,
And the grave is not its' goal;
Dust thou art; to dust returnest,
Was not spoken of the soul.
सदा सत्य है जीवन तो जीने को उद्यत।
नहीं लक्ष 'श्मशान' कभी भी हो यह अवगत।।
तू माटी, तुझको माटी में अंत समाना।
नहीं आत्मा को देते यह लोग उल्हाना।।
--3--
Not enjoyment, and not sorrow,
Is our destined end or way ;
But to act, that each tomorrow
Find us farther than today.
सुख दुख हों जीवन के य़ा होवें पीडायें।
ना तोे ये उद्देश्य नहीं ये राह कहायें।।
किन्तु कर्म ऐसे कि सुवह हर कल की हो जब
पाये आगे हमें आज के डेरे से तब।।
---4---
Art is long and time is fleeting,
And our hearts, though stout and brave,
Still, like muffled drums, are beating
Funeral marches to the grave .
दीर्घ कलायें , किन्तु समय है उडता जाता।
जदपि सुदृढ औ' वीर, हृदय तब भी घबराता।।
धडक रहा ज्यों ढंके ढोल हों राग बजाते।
महायात्रा अंतकाल की जो दरसातेे ।।
---5---
In the world's broad field of battle,
In the bivouac of life,
Be not like dumb, drawn cattle !
Be a hero in the strife !
विस्तृत जग की समर भूमि में नीचे नभ के।
है पडाव सैना का युद्धस्थल में जग के।।
बनो मूक पशु नहीं तुम्हैं जो कोई हाँके ।
रण जीवन का जीत बनो तुम नायक बाँके ।।
---6---
Trust no future howe'ver pleasent !
Let the dead past bury it's dead !
Act- act in the living present !
Heart within, and God over head !
हो सुन्दर पर क्या भविष्य की आशा करना ।
बीती ताहि विसार न चित में उसको धरना ।।
कर्म-कर्म नित करो सतत तुम वर्तमान में।
मन साहस से भरा , प्रभू हो सदा ध्यान में।।
----7----
Lives of great men all remind us,
We can make our lives sublime,
And departing, leave behind us
Foot prints on the sands of time.
युग पुरुषों की जीवन गाथा याद दिलाती।
गढ सकते उत्कृष्ट जिन्दगी राह बताती।।
जाते हैं वे छोड छाप पीछे कुछ जिससे ।
होती रेत समय की पग-तल-चिन्हित उससे।।
----8---
Foot prints that, perhaps another,
Sailing ov'er lifes solemn main,
A forlorn and shipwrecked brother,
Seeing shall take heart again.
पग तल के वे चिन्ह कदाचित देखे कोई ।
जीवन के पावन सागर पर तिरता होई।।
टूटी नैया , भटका भाई हो एकाकी
देखे साहस पाय निराशा रहे न बाकी ।।
---9----
Let us then be up and doing ,
With a heart for any fate ,
Still achieving, still persueing ,
Learn to labour and to wait.
अत:, उठें जागें, होजावें सतत कार्यरत।
भरे हृदय में साहस चिन्ता नहीं भाग्यगत ।।
सदा सफलता पाय़ें आगे बढते जायें ।
सीखें श्रम का पाठ सदा ही धीरज ध्यायें ।।
अऩुवाद....
...डॉ.सतीश सक्सेना 'शून्य'
टीप...
Bivouac ...सेना के पड़ाव का. खुलामैदान
Muffled drums ...पश्चिमी देशों में शव यात्रा के साथ बजने बाले बाजों में ढोलों को कपडे से ढंक दिया जाता है
जिससे आवाज धीमीं तथा शोकपूर्ण हो जाती है......

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