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बुधवार, 4 दिसंबर 2019

सरस्वती वंदना दयाशंकर द्विवेदी 'शंकर जलेसरी

स्मृतिशेष पंडित दयाशंकर द्विवेदी 'शंकर जलेसरी

जन्म - २७ जुलाई १९१२ (आश्विन शुक्ल ४ संवत १९६८), पंसारियान जलेसर, एटा, उत्तर प्रदेश।
निधन - बसंत पंचमी १९९६।
आत्मज - स्मृति शेष सेवाराम मिश्र।
शिक्षा - संस्कृत साहित्य रत्न, एल.टी.।
सृजन - प्रबंध काव्य - भारतीय शौर्य गाथा, शिवा शौर्य काव्य, भारतीय शौर्य सूर्य १- २, चंडी चरित्र, पूज्य बापू, सत्य सुधा सिंधु। साहित्य - कहानी, पूजा पुष्पांजलि, एकांकी - प्रियदर्शी अशोक, श्रवण कुमार, भक्त ध्रुव, चन्द्रगुप्त और चाणक्य, सुभाष चंद्र बोस, चंद्रशेखर आज़ाद, बंदा बैरागी, पार्वती परिणय, नव निर्माण, दहेज दानव, परिवर्तन।
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सरस्वती वंदना
श्रवनन कुण्डल, बुलाक नाक में विमल, कंचन किरीट कल, शीश पर धारती।
भाल बिंदु लाल, कंठ डाल मणिमाल, नैन नीरज विशाल, श्वेत सारी को सँभारती।
पैरन पाजेब डार, वेद अक्षमाल धार, कर ले सितार तार,तार झनकारती।
हंस पै विराजती, दया की दृष्टि डालती, पधारो मेरी भारती, उतारूँ तेरी आरती।
छंद : घनाक्षरी
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