द्विपदी:
करें शिकवे-शिकायत आप-हम दिन-रात अपनों से
कभी गैरों से कोई बात मन की कह नहीं सकता.
करें शिकवे-शिकायत आप-हम दिन-रात अपनों से
कभी गैरों से कोई बात मन की कह नहीं सकता.
दिव्य नर्मदा : हिंदी तथा अन्य भाषाओँ के मध्य साहित्यिक-सांस्कृतिक-सामाजिक संपर्क हेतु रचना सेतु A plateform for literal, social, cultural and spiritual creative works. Bridges gap between HINDI and other languages, literature and other forms of expression.
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