हिन्दी के शिखर हस्ताक्षर श्री अनूप भार्गव को जन्म दिवस पर अनंत-अशेष शुभकामनायें
हो अपरूप अनूप प्रिय!, रचिए नित्य अशेष.
हर पल नूतन जन्म हो, हर क्षण रहे विशेष..
शब्द ब्रम्ह आराधकर, भार्गव होता धन्य.
शौर्य-धैर्य पर्याय हो, जग में रहे अनन्य..
'सलिल' साधना सिद्धि दे, हों अक्षर-आदित्य.
हिन्दी जग-वाणी बने, रचें विपुल साहित्य..
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