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शनिवार, 6 मई 2023

सॉनेट, अरविन्द

 सॉनेट 

अरविंद 

ग्रहण लगा अरविंद न बोले

नहीं ज्योत्सना नर्तन करती

तारक मंडल संग न डोले

हाय! मंजरी मौन मुरझती 


चंद! चंद दिन का है पातक

कह कितना जग धैर्य धराए

अनुमानित से ज्यादा घातक

साथ याद के रहे न साए


शशि हे! कर दिन की अगवानी

एक बार फिर से मुस्काओ

मचले मोहन कर यजमानी 

जसुदा की थाली में आओ


मन मयंक निश्शंक काश हो

'सलिल' विपद का नष्ट पाश हो

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