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सोमवार, 17 अप्रैल 2017

chhand-bahar

ॐ 
छंद बहर का मूल है: ५  
चामर छंद
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छंद परिचय:
पन्द्रह वार्णिक अतिशर्करी जातीय चामर छंद।
तेईस मात्रिक रौद्राक जातीय     छंद
 
संरचना: SIS ISI SIS ISI SIS
सूत्र: रजरजर।
बहर: फ़ाइलुं मुफ़ाइलुं मुफ़ाइलुं मुफ़ाइलुं।
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देश का सवाल है न राजनीति खेलिए
लोक को रहे न शोक लोकनीति कीजिए
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भेद-भाव भूल स्नेह-प्रीत खूब बाँटिए 

नेह नर्मदा नहा , रीति-प्रीति भूलिए
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नीर के बिना न जिंदगी बिता सको कभी
साफ़ हों नदी-कुएँ सभी प्रयास कीजिए
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घूस का न कायदा, न फायदा उठाइये  

काम-काज जो करें, न वक्त आप चूकिए
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ज्यादती न कीजिए, न ज्यादती सहें कभी
कामयाब हों, प्रयास बार-बार कीजिए
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पीढ़ियाँ न एक सी रहीं, न हो सकें कभी 

हाथ थाम लें, गले लगा न आप जूझिए
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घालमेल छोड़, ताल-मेल से रहें सुखी
सौख्य पालिए, न राग-द्वेष आप घोलिए
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१७.४.२०१७
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